सिंदूर किस दिन खरीदना चाहिए और किस दिन नहीं
image
downloadDownload
shareShare
ShareWhatsApp

सिंदूर किस दिन खरीदना चाहिए और किस दिन नहीं

हिंदू धर्म में सिंदूर का विशेष महत्व है। ज्योतिष और परंपराओं के अनुसार कुछ दिन सिंदूर खरीदने के लिए बेहद शुभ माने जाते हैं। जानिए सप्ताह के कौन-से दिन सिंदूर खरीदना अच्छा है और किन दिनों में नहीं खरीदना चाहिए।

सिंदूर खरीदने के शुभ दिन के बारे में

सिंदूर हर सुहागन के लिए सिर्फ श्रृंगार नहीं, बल्कि उसके सुखी दांपत्य जीवन की निशानी भी होता है। ऐसे में इसे सही दिन पर खरीदना बेहद खास माना जाता है। इस आर्टिकल में जानिए सिंदूर खरीदने के शुभ दिन और वो बातें जिनका ध्यान रखकर आप अपने दांपत्य जीवन में और भी प्रेम और सौभाग्य भर सकती हैं।

सिंदूर: कब खरीदें और कब नहीं? जानें आपकी ज़िंदगी पर इसका क्या असर पड़ता है

भारतीय संस्कृति में सिंदूर सिर्फ एक श्रृंगार सामग्री नहीं, बल्कि सुहाग, सौभाग्य और पवित्रता का प्रतीक है। हिंदू धर्म में विवाहित महिलाएं इसे अपनी मांग में भरकर पति की लंबी उम्र और घर की खुशहाली की कामना करती हैं। सिंदूर का संबंध कई देवी-देवताओं से भी है, खासकर माँ दुर्गा, माँ लक्ष्मी और हनुमान जी से। ऐसे में, सिंदूर खरीदते समय दिन का चुनाव बेहद महत्वपूर्ण हो जाता है। गलत दिन खरीदा गया सिंदूर घर में नकारात्मकता ला सकता है, जबकि सही दिन की गई खरीदारी आपके जीवन में शुभता और समृद्धि भर सकती है। आइए, विस्तार से जानते हैं सिंदूर खरीदने के शुभ और अशुभ दिनों के बारे में।

हिंदू धर्म में सिंदूर का क्या महत्व है और इसे कब लगाना चाहिए? 

धार्मिक और सांस्कृतिक रूप से सिंदूर का महत्व बहुत गहरा है

  • सुहाग का प्रतीक: यह विवाहित महिलाओं के लिए सुहाग का सबसे बड़ा प्रतीक है। मान्यता है कि मांग में सिंदूर भरने से पति की आयु लंबी होती है और दांपत्य जीवन में सुख-शांति बनी रहती है।

  • सकारात्मक ऊर्जा का संचार: सिंदूर को सकारात्मक ऊर्जा का वाहक माना जाता है। इसे लगाने से शरीर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है और मन शांत रहता है।

  • देवी-देवताओं को प्रिय: सिंदूर माँ दुर्गा, माँ लक्ष्मी और हनुमान जी को अत्यंत प्रिय है। इन देवी-देवताओं की पूजा में सिंदूर का प्रयोग उन्हें प्रसन्न करता है और उनकी कृपा प्राप्त होती है। विशेष रूप से हनुमान जी को नारंगी सिंदूर चढ़ाया जाता है, जिसे 'चोला' कहते हैं।

  • रक्षा कवच: माना जाता है कि सिंदूर बुरी शक्तियों और नकारात्मक ऊर्जा से रक्षा करता है। इसे लगाने से बुरी नजर का प्रभाव कम होता है।

  • स्वास्थ्य लाभ: पारंपरिक रूप से सिंदूर में हल्दी और चूना होता है, जिसके औषधीय गुण माने जाते हैं। यह माथे पर लगाने से रक्तचाप को नियंत्रित करने और मानसिक शांति प्रदान करने में सहायक हो सकता है।

सिंदूर खरीदने के लिए शुभ दिन कौन सा है?

वास्तु शास्त्र और ज्योतिष के अनुसार, सिंदूर खरीदने के लिए कुछ खास दिन बेहद शुभ माने जाते हैं, जो घर में सौभाग्य और समृद्धि लाते हैं:

  • मंगलवार: मंगलवार का दिन सिंदूर खरीदने के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। यह दिन भगवान हनुमान और मंगल ग्रह को समर्पित है। हनुमान जी को सिंदूर बहुत प्रिय है। इस दिन सिंदूर खरीदने से हनुमान जी प्रसन्न होते हैं और विवाहित महिलाओं को अखंड सौभाग्य का आशीर्वाद मिलता है। घर में सुख-शांति और समृद्धि बनी रहती है।

  • शुक्रवार: शुक्रवार का दिन माँ लक्ष्मी और देवी दुर्गा को समर्पित है। इन देवियों को सिंदूर अर्पित करने से वे प्रसन्न होती हैं। शुक्रवार को सिंदूर खरीदने से धन-धान्य में वृद्धि होती है और घर में खुशहाली आती है। यह दिन सौभाग्य और प्रेम को बढ़ावा देता है।

  • गुरुवार: कुछ ज्योतिषीय मान्यताओं के अनुसार, गुरुवार का दिन भी सिंदूर खरीदने के लिए शुभ हो सकता है, खासकर यदि आप पुष्य नक्षत्र में खरीद रहे हों। यह दिन बृहस्पति देव को समर्पित है, जो ज्ञान, समृद्धि और वैवाहिक सुख के कारक हैं।

  • शुभ नक्षत्र: पुष्य, श्रवण, रोहिणी, उत्तरा फाल्गुनी, उत्तराषाढ़ा, उत्तरा भाद्रपद जैसे शुभ नक्षत्रों में सिंदूर खरीदना बहुत फलदायी होता है। इन नक्षत्रों में खरीदी गई वस्तुएँ स्थायी शुभता लाती हैं।

  • नवरात्रि के दिन: नवरात्रि के दौरान किसी भी दिन सिंदूर खरीदना अत्यंत शुभ माना जाता है, क्योंकि यह शक्ति उपासना का पर्व है और इस दौरान माँ दुर्गा को सिंदूर अर्पित किया जाता है।

सिंदूर किस दिन ना खरीदें?

कुछ दिन ऐसे होते हैं जब सिंदूर खरीदने से पूरी तरह बचना चाहिए, क्योंकि इन दिनों की गई खरीदारी नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है या अशुभ मानी जाती है:

  • रविवार: रविवार को सिंदूर खरीदने से बचना चाहिए। यह दिन सूर्य देव को समर्पित है, और कुछ मान्यताओं के अनुसार इस दिन सिंदूर खरीदना वैवाहिक जीवन में परेशानियाँ या स्वास्थ्य संबंधी चिंताएँ ला सकता है।

  • शनिवार: शनिवार का दिन शनिदेव को समर्पित है। इस दिन सिंदूर खरीदने से शनि का नकारात्मक प्रभाव बढ़ सकता है, जिससे धन हानि, कलह या अन्य प्रकार की दिक्कतें आ सकती हैं।

  • अमावस्या तिथि: अमावस्या को शुभ कार्यों के लिए वर्जित माना जाता है। इस दिन सिंदूर खरीदने से नकारात्मक ऊर्जा और दुर्भाग्य आ सकता है।

  • ग्रहण काल: सूर्य ग्रहण या चंद्र ग्रहण के दौरान कोई भी नई खरीदारी करने से बचना चाहिए, खासकर धार्मिक या श्रृंगार की वस्तुएँ। ग्रहण काल में खरीदी गई वस्तुएँ अशुभ फल दे सकती हैं।

सिंदूर खरीदते समय विशेष सावधानियाँ 

  • सिंदूर खरीदते समय हमेशा शुद्ध और अच्छी गुणवत्ता का सिंदूर ही खरीदें। रासायनिक सिंदूर से बचें।

  • विवाहित महिलाओं के लिए लाल या गहरा नारंगी (हनुमानी) सिंदूर ही शुभ माना जाता है।

  • हमेशा सील पैक और साफ सिंदूर खरीदें। खुला या बिखरा हुआ सिंदूर न लें।

  • सिंदूर खरीदते समय मन में पवित्रता और श्रद्धा भाव रखें।

  • सिंदूर को कभी भी व्यर्थ न फेंके या उसका अनादर न करें।

निष्कर्ष

सिंदूर हमारे जीवन में पवित्रता, प्रेम और सौभाग्य का प्रतीक है। अपनी ज़िंदगी में इसकी शुभता को बनाए रखने के लिए सिंदूर खरीदते समय सही दिन का चुनाव करना बेहद महत्वपूर्ण है। मंगलवार और शुक्रवार जैसे दिन इस पवित्र वस्तु को खरीदने के लिए सबसे उपयुक्त माने जाते हैं, जबकि रविवार और शनिवार को इससे बचना चाहिए। इन बातों का ध्यान रखकर आप न केवल अपनी मान्यताओं का सम्मान करेंगे, बल्कि घर में सकारात्मक ऊर्जा और खुशहाली को भी आमंत्रित कर पाएंगे।

divider
Published by Sri Mandir·July 1, 2025

Did you like this article?

आपके लिए लोकप्रिय लेख

और पढ़ेंright_arrow
srimandir-logo

श्री मंदिर ने श्रध्दालुओ, पंडितों, और मंदिरों को जोड़कर भारत में धार्मिक सेवाओं को लोगों तक पहुँचाया है। 50 से अधिक प्रसिद्ध मंदिरों के साथ साझेदारी करके, हम विशेषज्ञ पंडितों द्वारा की गई विशेष पूजा और चढ़ावा सेवाएँ प्रदान करते हैं और पूर्ण की गई पूजा विधि का वीडियो शेयर करते हैं।

हमारा पता

फर्स्टप्रिंसिपल ऐप्सफॉरभारत प्रा. लि. 435, 1st फ्लोर 17वीं क्रॉस, 19वीं मेन रोड, एक्सिस बैंक के ऊपर, सेक्टर 4, एचएसआर लेआउट, बेंगलुरु, कर्नाटका 560102
YoutubeInstagramLinkedinWhatsappTwitterFacebook