एमपी में घूमने की जगह
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एमपी में घूमने की जगह

क्या आप एमपी में घूमने की जगहें खोज रहे हैं? जानिए मध्य प्रदेश की खास ऐतिहासिक और धार्मिक जगहें, जो हर यात्री को एक बार ज़रूर देखनी चाहिए।

मध्य प्रदेश में घूमने की जगह के बारे में

भारत का दिल मध्य प्रदेश अपने मंदिरों के कारण भी धर्म प्रेमियों के दिल में बसता है। आइए इस लेख में जानते हैं मध्य प्रदेश के उन मंदिरों के बारे में जो देश ही नहीं पूरे विश्व के लोगों को आकर्षित करते हैं

देश के दिल मध्य प्रदेश के प्रमुख मंदिर

अगर आप घूमने के शौकीन हैं और आपकी रुचि ऐतिहासिक व धार्मिक स्थलों में है, तो मध्य प्रदेश आपके लिए एक बेहतरीन गंतव्य हो सकता है। यह राज्य न केवल अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के लिए जाना जाता है, बल्कि यहां स्थित प्राचीन मंदिर भी दुनियाभर के श्रद्धालुओं और पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। इस लेख में हम मध्य प्रदेश के कुछ सबसे प्रसिद्ध मंदिरों के बारे में जानेंगे, जो न सिर्फ आस्था का केंद्र हैं, बल्कि स्थापत्य कला के उत्कृष्ट उदाहरण भी हैं।

1. खजुराहो के कंदारिया महादेव मंदिर

  • यह मंदिर खजुराहो के पश्चिमी समूह का सबसे बड़ा और भव्य मंदिर है।
  • 11वीं शताब्दी में चंदेल वंश के राजा विद्याधर ने इसका निर्माण कराया था।
  • मंदिर भगवान शिव को समर्पित है और इसकी दीवारों पर intricate मूर्तिकला देखी जा सकती है।
  • इस मंदिर को यूनेस्को की वैश्विक धरोहर की सूची में शामिल किया गया है।

खजुराहो के मंदिर अपनी अद्भुत शिल्पकला और बारीक नक्काशी के लिए प्रसिद्ध हैं। कंदारिया महादेव मंदिर विशेष रूप से अपनी ऊँची संरचना और भव्यता के लिए जाना जाता है। इस मंदिर की बाहरी दीवारों पर अनेक देवी-देवताओं, अप्सराओं और पौराणिक घटनाओं के चित्रण किए गए हैं। यह मंदिर शिव भक्तों के लिए विशेष महत्व रखता है और यहाँ हर साल हजारों पर्यटक दर्शन के लिए आते हैं।

2. उज्जैन का महाकालेश्वर मंदिर

  • यह भारत के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है और अत्यंत पवित्र माना जाता है।
  • यहाँ भगवान शिव की भस्म आरती विश्व प्रसिद्ध है, जो प्रतिदिन तड़के सुबह होती है।
  • इस मंदिर का उल्लेख पुराणों और महाकाव्यों में मिलता है।
  • मंदिर क्षिप्रा नदी के तट पर स्थित है, जो इसे और भी धार्मिक महत्व देता है।

महाकालेश्वर मंदिर हिंदू धर्म में अत्यंत पवित्र स्थानों में से एक माना जाता है। यहाँ की भस्म आरती की अनूठी परंपरा इसे अन्य मंदिरों से अलग बनाती है। ऐसा माना जाता है कि यहाँ भगवान शिव स्वयं महाकाल के रूप में निवास करते हैं। हर साल महाशिवरात्रि के अवसर पर यहाँ विशाल मेला लगता है, जिसमें लाखों भक्त शामिल होते हैं।

3. ओरछा का राम राजा मंदिर

  • यह भारत का एकमात्र ऐसा मंदिर है जहां भगवान राम को राजा के रूप में पूजा जाता है।
  • इस मंदिर की स्थापना 16वीं शताब्दी में ओरछा के राजा मधुकर शाह ने करवाई थी।
  • यह मंदिर भारतीय वास्तुकला और मुगल शैली का अद्भुत मिश्रण है।
  • हर दिन यहाँ शाही अंदाज़ में भगवान राम की आरती होती है।

राम राजा मंदिर की सबसे खास बात यह है कि यहाँ भगवान राम को एक राजा के रूप में पूजा जाता है, और मंदिर में सुरक्षा के लिए सशस्त्र गार्ड तैनात रहते हैं। मंदिर की स्थापत्य कला भी अत्यंत भव्य है, जिसमें हिंदू और मुगल शैली का सुंदर संगम देखा जा सकता है। यह मंदिर ओरछा के ऐतिहासिक महत्व को दर्शाता है और श्रद्धालुओं के लिए एक प्रमुख धार्मिक स्थल है।

4. ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग मंदिर

  • यह नर्मदा नदी के किनारे स्थित 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है।
  • इस मंदिर का नाम संस्कृत शब्द 'ओंकार' से लिया गया है, क्योंकि इसकी भौगोलिक संरचना 'ॐ' के आकार की है।
  • यह मंदिर भक्तों और साधकों के लिए ध्यान और साधना का प्रमुख स्थल है।

ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग मंदिर का विशेष महत्व है क्योंकि यह दो पर्वतों के बीच स्थित है, जो नर्मदा नदी के बीच में 'ॐ' का आकार बनाते हैं। यहाँ पहुँचने के लिए श्रद्धालुओं को नाव द्वारा नदी पार करनी पड़ती है। यह स्थल न केवल धार्मिक दृष्टि से बल्कि प्राकृतिक सुंदरता के लिए भी प्रसिद्ध है। शिवरात्रि और सावन के महीने में यहाँ भक्तों की भारी भीड़ उमड़ती है।

5. साँची का महान बौद्ध स्तूप (हालांकि मंदिर नहीं, लेकिन ऐतिहासिक रूप से महत्वपूर्ण)

  • यह भारत के सबसे प्राचीन बौद्ध स्थलों में से एक है, जिसकी स्थापना सम्राट अशोक ने करवाई थी।
  • यहाँ अद्भुत वास्तुकला और उत्कीर्ण मूर्तिकला देखी जा सकती है।

साँची का महान बौद्ध स्तूप न केवल भारत, बल्कि पूरे विश्व में बौद्ध धर्म का प्रतीक माना जाता है। सम्राट अशोक द्वारा निर्मित इस स्तूप में भगवान बुद्ध के अवशेष रखे गए थे। यह स्थल अपनी उत्कृष्ट नक्काशी और स्थापत्य कला के लिए प्रसिद्ध है। यह स्थान बौद्ध धर्म के अनुयायियों के लिए उतना ही महत्वपूर्ण है जितना कि हिंदू धर्म में किसी प्रमुख मंदिर का महत्व होता है।

निष्कर्ष

मध्य प्रदेश अपनी समृद्ध सांस्कृतिक और धार्मिक धरोहर के लिए प्रसिद्ध है। यहाँ के मंदिर न सिर्फ धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण हैं, बल्कि ये ऐतिहासिक और वास्तुकला की दृष्टि से भी अद्वितीय हैं। अगर आप आध्यात्मिक यात्रा पर निकलना चाहते हैं, तो इन मंदिरों का दर्शन अवश्य करें। इन मंदिरों में जाने से न केवल आपकी आध्यात्मिक यात्रा पूर्ण होगी, बल्कि आप भारतीय इतिहास और संस्कृति से भी गहराई से जुड़ पाएंगे।

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Published by Sri Mandir·April 30, 2025

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