आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन
देवशयनी एकादशी विशेष

16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन

आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए
temple venue
श्री नवग्रह शनि मंदिर, उज्जैन, मध्य प्रदेश
pooja date
17 जुलाई, बुधवार, आषाढ़ शुक्ल एकादशी
Warning Infoइस पूजा की बुकिंग बंद हो गई है
srimandir devotees
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अब तक3,00,000+भक्तोंश्री मंदिर द्वारा आयोजित पूजाओ में भाग ले चुके हैं

आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए देवशयनी एकादशी विशेष 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन

आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी से पालनहार भगवान विष्णु चार माह तक शयन में चले जाते हैं, इसलिए इसे देवशयनी एकादशी कहा जाता है। भगवान विष्णु के चार माह तक शयन में जाने के कारण इसे चतुर्मास, हरिशयनी एवं पद्मनाभा एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। मान्यता है कि इस चातुर्मास में सभी देव सो जाते हैं और सृष्टि का संचालन भगवान शिव के हाथों में आ जाता है। भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए देवशयनी एकादशी का दिन अत्यंत शुभ माना गया है, इस दिन श्रीहरि की पूजा करने से भक्तों को शुभ फल की प्राप्ति होती है। इस दिन न केवल भगवान विष्णु बल्कि बृहस्पति की भी पूजा की जाती है क्योंकि भगवान विष्णु बृहस्पति ग्रह का प्रतिनिधित्व करते हैं। इस ग्रह को विवाह का कारक माना जाता है।

अगर आपकी कुंडली में बृहस्पति शुभ स्थिति में है, तो आप अपने वैवाहिक जीवन में सुखी रहेंगे, आपको मनचाहा जीवनसाथी मिलेगा और आपके पार्टनर के साथ कोई विवाद नहीं होगा। लेकिन वहीं, अगर कुंडली में बृहस्पति अशुभ स्थिति है, तो कई तरह की समस्याएं उत्पन्न कर सकता है जैसे: विवाह में देरी या वैवाहिक जीवन में समस्याएं, पार्टनर के बीच विवाद होना। कुंडली में बृहस्पति की प्रतिकूल स्थिति को कम करने के लिए, देवशयनी एकादशी पर बृहस्पति ग्रह और भगवान विष्णु की पूजा करना अत्यधिक लाभकारी माना जाता है। इसलिए, देवशयनी एकादशी के शुभ दिन पर काशी में विराजित श्री बृहस्पति मंदिर में 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन का आयोजन किया जा रहा है। श्री मंदिर के माध्यम से इस पूजा में भाग लें और एक आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए आशीष प्राप्त करें।

पूजा लाभ

puja benefits
आदर्श साथी पाने के लिए
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार अगर कुंडली में बृहस्पति अशुभ स्थिति हो तो विवाह में देरी के साथ एक आदर्श जीवनसाथी मिलने की संभावना बेहद कम हो जाती है। इसलिए इस देवशयनी एकादशी पर यह पूजा करने से बृहस्पति के नकारात्मक प्रभाव कम होते हैं और आदर्श जीवनसाथी प्राप्ति का आशीष मिलता है। बृहस्पति का प्रभाव रिश्तों में स्पष्टता और समझ लाता है, जिससे व्यक्ति को अनुकूल जोड़ी मिल सकती है।
puja benefits
रिश्ते में आनंद के लिए
बृहस्पति विवाह का कारक है। यदि यह अनुकूल स्थिति में नहीं है, तो आपके वैवाहिक जीवन में मुश्किलें पैदा कर सकता है, जैसे कि आपके पार्टन के साथ विवाद होना। मान्यता है कि बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप करके, व्यक्ति के जीवन से बृहस्पति के नकारात्मक प्रभावों को शांत किया जा सकता है और कुंडली में बृहस्पति के सकारात्मक प्रभावों को मजबूत करता है। इसके अलावा, देवशयनी एकादशी पर सुदर्शन हवन करने से भगवान विष्णु का आशीर्वाद मिलता है, जो अपने भक्तों को रिश्तों में आनंद का आशीर्वाद देते हैं।
puja benefits
सफल वैवाहिक जीवन के लिए
जन्म कुंडली में पीड़ित बृहस्पति मन की स्पष्टता और निर्णय लेने में चुनौतियों का कारण बन सकता है। यह विवाह जैसे रिश्तों को प्रभावित करता है, जिससे अनिर्णय, असंगति और अपने पार्टनर के साथ विश्वासों को संरेखित करने में कठिनाई हो सकती है। देवशयनी एकादशी पर यह पूजा करने से इन मुद्दों को हल करने, विचारों की स्पष्टता लाने एवं सफल वैवाहिक जीवन के लिए सद्भाव को बढ़ावा देने में मदद मिल सकती है।

पूजा प्रक्रिया

Number-0

पूजा चयन करें

नीचे दिए गए पूजा के विकल्पों में से किसी एक का चुनाव करें।
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अर्पण जोड़ें

गौ सेवा, दीप दान, वस्त्र दान एवं अन्न दान जैसे अन्य सेवाओं के साथ अपने पूजा अनुभव को बेहतर बनाएं।
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पूजा के दिन अपडेट पाएं

हमारे अनुभवी पंडित पूरे विधि विधान से पूजा कराएंगे, अपने व्हाट्सएप नंबर पर पूजा का लाइव अपडेट्स प्राप्त करें।
Number-4

पूजा वीडियो एवं प्रसाद

3-4 दिनों के अंदर अपने व्हाट्सएप नंबर पर पूजा वीडियो पाएं एवं 8-10 दिनों में तीर्थ प्रसाद प्राप्त करें।

श्री नवग्रह शनि मंदिर, उज्जैन, मध्य प्रदेश

श्री नवग्रह शनि मंदिर, उज्जैन, मध्य प्रदेश
आषाढ़ मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी से पालनहार भगवान विष्णु चार माह तक शयन में चले जाते हैं, इसलिए इसे देवशयनी एकादशी कहा जाता है। भगवान विष्णु के चार माह तक शयन में जाने के कारण इसे चतुर्मास, हरिशयनी एवं पद्मनाभा एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। मान्यता है कि इस चातुर्मास में सभी देव सो जाते हैं और सृष्टि का संचालन भगवान शिव के हाथों में आ जाता है। भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए देवशयनी एकादशी का दिन अत्यंत शुभ माना गया है, इस दिन श्रीहरि की पूजा करने से भक्तों को शुभ फल की प्राप्ति होती है। इस दिन न केवल भगवान विष्णु बल्कि बृहस्पति की भी पूजा की जाती है क्योंकि भगवान विष्णु बृहस्पति ग्रह का प्रतिनिधित्व करते हैं। इस ग्रह को विवाह का कारक माना जाता है।

अगर आपकी कुंडली में बृहस्पति शुभ स्थिति में है, तो आप अपने वैवाहिक जीवन में सुखी रहेंगे, आपको मनचाहा जीवनसाथी मिलेगा और आपके पार्टनर के साथ कोई विवाद नहीं होगा। लेकिन वहीं, अगर कुंडली में बृहस्पति अशुभ स्थिति है, तो कई तरह की समस्याएं उत्पन्न कर सकता है जैसे: विवाह में देरी या वैवाहिक जीवन में समस्याएं, पार्टनर के बीच विवाद होना। कुंडली में बृहस्पति की प्रतिकूल स्थिति को कम करने के लिए, देवशयनी एकादशी पर बृहस्पति ग्रह और भगवान विष्णु की पूजा करना अत्यधिक लाभकारी माना जाता है। इसलिए, देवशयनी एकादशी के शुभ दिन पर काशी में विराजित श्री बृहस्पति मंदिर में 16,000 बृहस्पति ग्रह मूल मंत्र जाप और सुदर्शन हवन का आयोजन किया जा रहा है। श्री मंदिर के माध्यम से इस पूजा में भाग लें और एक आदर्श जीवनसाथी एवं रिश्ते का आनंद पाने के लिए आशीष प्राप्त करें।

पूजा का चयन करें

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व्यक्तिगत पूजा

अधिकतम 1 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम एवं गोत्र का उच्चारण करेंगे।
अपने नाम से किए जाने वाले वस्त्र दान, अन्न दान, गौ सेवा या दीप दान जैसे अन्य सेवाएं का विकल्प चुनें।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पवित्र तीर्थ प्रसाद 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा।

1251

पार्टनर पूजा

अधिकतम 2 व्यक्ति के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम एवं गोत्र का उच्चारण करेंगे।
अपने नाम से किए जाने वाले वस्त्र दान, अन्न दान, गौ सेवा या दीप दान जैसे अन्य सेवाएं का विकल्प चुनें।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पवित्र तीर्थ प्रसाद 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा।

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पारिवारिक पूजा

अधिकतम 4 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम एवं गोत्र का उच्चारण करेंगे।
श्री नवग्रह शनि मंदिर में भगवान विष्णु को फल, मिठाई और सूखे मेवे का भोग चढ़ाया जाएगा।
अपने नाम से किए जाने वाले वस्त्र दान, अन्न दान, गौ सेवा या दीप दान जैसे अन्य सेवाएं का विकल्प चुनें।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पवित्र तीर्थ प्रसाद 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा।

3001

संयुक्त परिवार पूजा

अधिकतम 6 सदस्यों के लिए पूजा कराएं

पूजा संकल्प के दौरान पंडित जी आपके नाम एवं गोत्र का उच्चारण करेंगे।
श्री नवग्रह शनि मंदिर में भगवान विष्णु को पुष्पांजलि के साथ फल, मिठाई और सूखे मेवे से युक्त भोग अर्पित किया जाएगा
अपने नाम से किए जाने वाले वस्त्र दान, अन्न दान, गौ सेवा या दीप दान जैसे अन्य सेवाएं का विकल्प चुनें।
आपकी पूजा संपन्न होने पर पूजा का वीडियो 3-4 दिनों के अंदर आपके पंजीकृत व्हाट्सएप नंबर पर भेजा जाएगा एवं आप इसे अपनी बुकिंग हिस्ट्री में जाकर भी देख सकते हैं।
पवित्र तीर्थ प्रसाद 8-10 दिनों के भीतर आपके पते पर भेज दिया जाएगा।

हमारे पिछले पूजा अनुभव के झलक

पूजा समाप्त होने के बाद, आपकी पूजा का पूरा वीडियो रिकॉर्डिंग, नाम और गोत्र चैंटिंग सहित, साझा किया जाएगा।
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कैसा रहा श्री मंदिर पूजा सेवा का अनुभव?

क्या कहते हैं श्रद्धालु?
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जय राज यादव

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रमेश चंद्र भट्ट

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मुकुल राज

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अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्नों