🚩साल 2025 के पहले शनिवार पर मां बगलामुखी-शनिदेव की पूजा क्यों है प्रभावशाली ?
साल 2025 का पहला शनिवार विशेष रूप से शुभ और शक्तिशाली माना जा रहा है, क्योंकि यह दिन साल के शुरूआत में ही माँ बगलामुखी और शनिदेव की कृपा प्राप्त करने का अनोखा अवसर है। जब माँ बगलामुखी और शनि देव की कृपा के साथ आप अपने जीवन के हर कठिन परिस्थिति में विजय और स्थिरता प्राप्त कर सकते हैं। यह पूजा न केवल आपके शत्रुओं को शांत करेगी, बल्कि आपके कर्मों को सुधारने और सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाने का माध्यम बनेगी। मां बगलामुखी 10 महाविद्याओं में से आठवीं महाविद्या हैं, जिन्हें दुश्मनों के मन और बुद्धि को नियंत्रित करने की क्षमता के लिए जाना जाता है। मां बगलामुखी की पूजा शत्रुओं के नाश के लिए की जाती है। इनकी पूजा से बड़ी विपत्तियां और शत्रुओं से होने वाले खतरे टल सकते हैं। मान्यता है कि तंत्र मार्ग से मां बगलामुखी की विशेष पूजा करने से शत्रुओं पर विजय, सरकारी कामों में सफलता, धन प्राप्ति और कोर्ट-कचहरी के मामलों में सफलता मिलती है।
वहीं दूसरी ओर, न्याय के देवता कहे जाने वाले शनिदेव की अराधना से भी कोर्ट-कचहरी मामलों में जीत का आशीर्वाद मिलता है। शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए कई तरह के अनुष्ठान किए जाते हैं, जिनमें से एक है तिल तेल अभिषेक। मान्यता है कि भगवान शनि को तेल चढ़ाने से उनके भक्तों को कष्टों से मुक्ति मिलती है और उनकी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। शनिवार के दिन तिल तेल अभिषेक करना और भी अधिक लाभकारी माना जाता है। माना जाता है कि शनिदेव के साथ मां बगलामुखी की पूजा करने से भक्तों को कोर्ट-कचहरी के मामलों में जीत और दुश्मनों पर विजय का आशीर्वाद मिलता है। इसलिए, साल के पहले शनिवार को मां बगलामुखी तंत्र युक्त हवन और शनि तिल तेल अभिषेक का आयोजन किया जाएगा। यह पूजा दो प्रमुख मंदिरों मां बगलामुखी मंदिर और श्री नवग्रह शनि मंदिर में होगी।