🔱 पवित्र ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग पर 11 हजार महामृत्युंजय मंत्र जाप का दुर्लभ महाअनुष्ठान
महामृत्युंजय मंत्र को सनातन धर्म में बहुत ख़ास और शक्तिशाली माना गया है। यह भगवान शिव को प्रसन्न करने का एक प्रमुख माध्यम है, जिसका जाप विशेष रूप से बीमारियों, डर और अकाल मृत्यु से रक्षा के लिए किया जाता है। ऐसा माना जाता है कि इस मंत्र से शरीर और मन, दोनों को गहराई से शांति और शक्ति मिलती है। भगवान शिव को केवल संहारक नहीं, बल्कि दयालु और रोगों से बचाने वाले देवता के रूप में भी पूजा जाता है। वे त्रिनेत्रधारी योगी हैं जो मृत्यु को भी टाल सकते हैं और भक्तों को दुख और डर से बचा सकते हैं।
इसी विश्वास के साथ, श्री मंदिर एक ख़ास अनुष्ठान का आयोजन कर रहा है, जो भारत के 12 पवित्र ज्योतिर्लिंगों में से एक ओंकारेश्वर पर होगा। इस पूरे दिन में विद्वान ब्राह्मणों द्वारा 11,000 बार महामृत्युंजय मंत्र का जाप किया जाएगा, जो परिवार में बेहतर स्वास्थ्य और दीर्घायु आशीष पाने का सुनहरा अवसर है। मान्यता है कि इस पूजा से भक्तों को शारीरिक और मानसिक शांति, सुरक्षा और लंबी उम्र का आशीर्वाद मिल सकता है।
ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग को स्वास्थ्य के देवता के रूप में भी जाना जाता है। यह जगह नर्मदा किनारे है और कहा जाता है कि यहां की ऊर्जा विशेष रूप से उपचार देने वाली है। सोमवार का दिन भगवान शिव को समर्पित है, इसलिए इस दिन महामृत्युंजय मंत्र का जाप और भी ज्यादा फलदायी हो जाता है। इस अनुष्ठान में पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद और शक्कर) से रुद्राभिषेक भी किया जाएगा, जो अटूट साहस और निरोगी जीवन की दिशा दिखाता है।
🔱 ओंकारेश्वर ज्योतिर्लिंग क्यों खास है? 🕉️
ऐसा माना जाता है कि नर्मदा नदी यहां ‘ॐ’ के आकार में बहती है। पौराणिक मान्यता है कि राजा मान्धाता ने यहां कठोर तप किया था और अपने वंश को रोग व अकाल मृत्यु से बचाया था। इसीलिए यह जगह ऐसे ख़ास अनुष्ठानों के लिए सबसे फलदायी मानी जाती है, ताकि मंत्रों और इस पवित्र स्थान की शक्ति मिलकर भक्तों को ज्यादा से ज्यादा लाभ दे सकें।
🙏 इस सोमवार श्री मंदिर के माध्यम से इस पावन अनुष्ठान में भाग लें और बीमारी, डर और अकाल मृत्यु से सुरक्षा के लिए भगवान शिव की कृपा पाएं।