🙏जब सावन, मंगलवार और पुत्रदा एकादशी एक साथ आते हैं, तो यह आपके बच्चों और परिवार के लिए हनुमान जी का आशीर्वाद पाने का एक दिव्य अवसर बन जाता है।
सावन महीने की शुक्ल पक्ष एकादशी को पुत्रदा एकादशी कहा जाता है। इस दिन लोग व्रत रखते हैं और बच्चों की तरक्की, खुशहाली और अच्छे स्वास्थ्य के लिए भगवान से प्रार्थना करते हैं। इस बार की एकादशी मंगलवार को पड़ रही है, जो हनुमान जी को समर्पित दिन होता है। वहीं सावन भगवान शिव जी का प्रिय महीना माना जाता है और मान्यता के अनुसार हनुमान जी भगवान शिव के ही अवतार हैं। इसलिए इस दिन पवनपुत्र हनुमान जी की पूजा करना विशेष फलदायी माना गया है।
यह विशेष संयोग हनुमान जी से केवल बच्चों के लिए प्रार्थना करने का नहीं, बल्कि जीवन में मजबूती, साहस और हर तरह की नकारात्मकता से सुरक्षा माँगने का भी अवसर है। ऐसा माना जाता है कि अगर सच्चे मन से हनुमान जी की भक्ति की जाए, तो वे अदृश्य संकटों को दूर करते हैं, बच्चों की रक्षा करते हैं और परिवार में शांति और मजबूती का वातावरण बनाते हैं। उनकी कृपा से बच्चों का मन मजबूत होता है और घर में मेल-जोल बना रहता है।
🕉️ क्या यह दिन आपके बच्चों के लिए हनुमान जी की कृपा माँगने का सबसे उपयुक्त अवसर नहीं है?
इसी पावन दिन भगवान शिव की प्रिय नगरी उज्जैन में स्थित मायापति हनुमान मंदिर में 1008 हनुमान चालीसा पाठ और संकटमोचन हनुमान अष्टक पाठ का विशेष आयोजन श्री मंदिर द्वारा किया जा रहा है। यह आयोजन बच्चों और परिवार की सुख-शांति के लिए समर्पित है। 1008 बार हनुमान चालीसा का पाठ करने से ऐसा माना जाता है कि वातावरण में सकारात्मक ऊर्जा फैलती है और नकारात्मकता दूर होती है। वहीं संकटमोचन अष्टक का पाठ मन को शांति देता है, चिंता कम करता है और आत्मबल बढ़ाता है। इस अनुष्ठान में किया गया हर एक पाठ बच्चों के अच्छे संस्कार, मानसिक संतुलन और मजबूती के लिए एक प्रार्थना है।
आप भी इस पूजा में श्री मंदिर के माध्यम से भाग लें और पवनपुत्र हनुमान जी की कृपा को अपने घर-परिवार तक पहुँचाएँ।