क्या जीवन की कठिनाइयाँ आपकी सफलता का मार्ग रोक रही हैं?🌟
जानें कैसे भगवान हनुमान और शनिदेव की संयुक्त पूजा से आपके लिए नए रास्ते खुल सकते हैं। 🙏
सनातन धर्म में शनिवार को शनिदेव और भगवान हनुमान की पूजा के लिए बेहद शुभ माना जाता है। शनिदेव, जिन्हें "कर्मफलदाता" के रूप में जाना जाता है, हमारे कर्मों के परिणामों को प्रभावित करते हैं। साथ ही ये जीवन में चुनौतियाँ और असीम आशीर्वाद, दोनों के प्रदाता भी है। यदि आपकी कुंडली में शनि की स्थिति प्रतिकूल है, तो यह पारिवारिक विवाद, करियर में बाधा और मानसिक तनाव जैसी बाधाओं को जन्म दे सकता है। शनिदेव की पूजा इन प्रतिकूल प्रभावों को शांत करने और अपने जीवन में समृद्धि, शांति और सकारात्मक परिवर्तन को न्यौता देने का एक शक्तिशाली उपाय है। हाल ही में, शनि का मीन राशि में गोचर हुआ है, जहाँ यह अगले ढाई साल तक रहेंगे। चूँकि यह परिवर्तन सभी राशियों को प्रभावित करने वाला है, और प्रत्येक राशि पर शनि के मिले-जुले प्रभाव को अनुभव किया सकता है। मेष राशि के लिए, साढ़े साती का एक नया चरण शुरू हो गया है, जो नई चुनौतियाँ लेकर आ रहा है। अन्य राशियाँ भी इसके प्रभावों को महसूस करेंगी, जिससे जीवन के विभिन्न क्षेत्रों में बाधाएँ आएंगी, चाहे वह करियर, रिश्ते या जीवन के अन्य पहलू हो। ज्योतिषी इस अवधि के दौरान इन नकारात्मक प्रभावों को संतुलित करने के लिए विशिष्ट अनुष्ठान करने की सलाह देते हैं।
इसलिए, इस शनिवार को पवित्र उज्जैन के प्रसिद्ध श्री नवग्रह शनि मंदिर में 19,000 शनि मूल मंत्र जाप, 1008 संकट मोचन हनुमान अष्टक पाठ और तिल तेल अभिषेक का आयोजन किया जाएगा। इस अनुष्ठान के दौरान, 21 ब्राह्मण 19,000 शनि मंत्रों का जाप करेंगे और 1,008 बार संकट मोचन हनुमान अष्टक का पाठ करेंगे। यह शक्तिशाली पूजा शनि के दुष्प्रभावों को कम करने और आपके जीवन में संतुलन, समृद्धि और सफलता लाने में मदद करेगी। शनि के नकारात्मक प्रभाव को कम करने के लिए शनि देव के साथ भगवान हनुमान की पूजा की जाती है। माना जाता है कि हनुमान जी शक्ति, आरोग्य और भक्ति के प्रतीक हैं, जो शनि के कठोर प्रभावों को शांत करके सुरक्षा और साहस प्रदान करते हैं। शनिवार को उनकी पूजा करने से निश्चित रूप से उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है, जिससे भक्तों को बाधाओं और चुनौतियों से उबरने में मदद मिलती है। भगवान शनि और भगवान हनुमान के बीच का संबंध बहुत ही मधुर है। त्रेता युग में, हनुमानजी ने शनि देव की रावण से रक्षा की थी, और इसी कृतज्ञता में, शनि देव ने हनुमान जी को आशीर्वाद दिया था, कि उनके भक्त की शनि के दुष्प्रभावों से हमेशा सुरक्षित रहेंगे। यही कारण है कि शनिवार को हनुमान जी की पूजा करना बहुत लाभदायक माना जाता है। आप भी इस विशेष पूजा में श्री मंदिर के माध्यम से भाग लें और शनिदेव और भगवान हनुमान का सयुक्त आशीर्वाद प्राप्त करें।