🌞 सूर्य के वृषभ में प्रवेश के साथ, प्रेम और संतुलन की ऊर्जा को जीवन में आमंत्रित करने का शुभ समय आ गया है।
❤️ अपने रिश्तों को फिर से सजाएँ — प्रेम और संतुलन की पवित्र ऊर्जा के संगम के साथ
जब सूर्य वृषभ राशि में प्रवेश करता है, तो एक खास तरह का खगोलीय बदलाव होता है – जो धीरे-धीरे हमारे जीवन से सुख, प्रेम और तालमेल को कम कर सकता है। ग्रहों की इस चाल की वजह से रिश्तों में दूरियाँ आने लगती हैं, भावनाओं में उलझन बढ़ती है और दिल के मामलों में गलतफहमियाँ पनपने लगती हैं।
ऐसे समय में शुक्र ग्रह – जो प्रेम, सुंदरता और रोमांस का प्रतीक माना जाता है – सूर्य की तेज रोशनी और उसके प्रभाव में दबने लगता है। इससे प्रेम संबंधों में संतुलन बिगड़ सकता है और आपसी समझ में कमी आ सकती है।
इस नाजुक समय में रिश्तों को बेहतर बनाने और प्रेम की सकारात्मक ऊर्जा को फिर से जागृत करने के लिए, श्री मंदिर मथुरा के माँ कात्यायनी शक्तिपीठ में एक विशेष पूजा का आयोजन किया जा रहा है। इसमें सूर्य-शुक्र युति शांति पूजा, माँ कात्यायनी मूल मंत्र का जाप और कामदेव-रति का अभिषेक शामिल है।
इस दुर्लभ और शक्तिशाली अनुष्ठान में शामिल हैं:
🔹 सूर्य-शुक्र युति शांति पूजा – यह पूजा सूर्य और शुक्र के इस संयोजन से होने वाले नकारात्मक असर को कम करने के लिए की जाती है। इससे अहंकार के टकराव, गलतफहमियों और भावनात्मक सूखेपन में शांति आती है।
🔹 माँ कात्यायनी मूल मंत्र जाप – माँ कात्यायनी वही देवी हैं जिनकी गोपियाँ भगवान श्रीकृष्ण को अपने प्रिय रूप में पाने के लिए पूजा करती थीं। यह जाप सच्चे प्रेम, वैवाहिक सुख और प्रेममय रिश्तों के लिए देवी का आशीर्वाद मांगने का एक माध्यम है।
🔹 कामदेव-रति अभिषेकम – यह अभिषेक प्रेम और आकर्षण के प्रतीक कामदेव और रति को समर्पित होता है। इसे रिश्तों में नजदीकी, स्नेह और आकर्षण को बढ़ाने वाला माना जाता है।
यह पूजा क्यों करें?
यह पूजा उन लोगों के लिए बहुत शुभ मानी जाती है जो भावनात्मक दूरी, वियोग, या जीवनसाथी की तलाश से गुजर रहे हैं। ऐसा माना जाता है कि यह पूजा:
🔸 टूटे हुए दिलों को जोड़ती है और सच्चे साथी को आकर्षित करती है
🔸 खोए हुए प्रेम और निकटता को फिर से जगाती है
🔸 आपके आत्मिक क्षेत्र (Aura) को प्रेम से भरे ग्रहों की ऊर्जा से संतुलित करती है
🔸 विवाह या रिश्तों में आ रही बाधाओं को दूर करती है
🙏 श्री मंदिर के माध्यम से मथुरा स्थित माँ कात्यायनी के दिव्य धाम में इस शक्तिशाली पूजा में भाग लें और अपने जीवन में जो कमी है — प्रेम, जुड़ाव और एक पवित्र साथ का आनंद — उसे फिर से पाएँ।