🧿 सनातन धर्म में श्री काल भैरव की आराधना का विशेष महीना मार्गशीर्ष (अगहन) को माना गया है, क्योंकि इसी महीने भैरव अष्टमी आती है, जो भगवान शिव के उग्र स्वरूप श्री काल भैरव का प्राकट्य दिवस है। मान्यता है कि जन्मोत्सव से ठीक पहले निशित काल में भैरव देव की पूजा से असामयिक मृत्यु जैसे खतरों से दिव्य सुरक्षा संभव है। इस मौके पर काशी के श्री बटुक भैरव मंदिर में श्री अष्ट भैरव महारक्षा कवच और 1,25,000 काल भैरव मूल मंत्र जाप और 21 ब्राह्मण महायज्ञ का आयोजन होने जा रहा है, जो जीवन में भयानक खतरों का डटकर सामना करने की आसान राह बना सकता है। विद्वान मानते हैं कि इस अनुष्ठान से पूरे जीवनकाल से पहले ही मृत्यु जैसे बड़े खतरे टल सकते हैं और भक्तों में निडरता और आत्मविश्वास बढ़ता है।
🧿 निशित काल, जिसे मध्यरात्रि का अत्यंत शक्तिशाली आध्यात्मिक समय माना गया है, भैरव साधना के लिए विशेष रूप से प्रभावी माना गया है। कहा जाता है कि इस समय उग्र देव-शक्तियां ज्यादा सक्रिय होती हैं और साधक की प्रार्थनाएँ शीघ्र ही इष्ट तक पहुंचती हैं। इस अनुष्ठान में श्री अष्ट भैरव महारक्षा कवच शामिल है, जो भगवान शिव के आठ रूपों—असंख्य शक्तियों के रक्षक, निर्णायक और भय-नाशक देव स्वरूपों का संयुक्त आह्वान माना जाता है। इन आठों भैरवों को दिशाओं के संरक्षक कहा गया है, जो भक्तों को भौतिक, मानसिक, आध्यात्मिक और अदृश्य नकारात्मक शक्तियों से सुरक्षा प्रदान करते हैं। मान्यता है कि यह कवच असामयिक मृत्यु जैसे खतरों को निष्क्रिय करने की शक्ति रखता है।
🧿 काशी के श्री बटुक भैरव मंदिर में होने जा रहा 1,25,000 काल भैरव मूल मंत्र जाप और 21 ब्राह्मणों द्वारा संपन्न महायज्ञ अत्यंत शक्तिशाली और दुर्लभ अनुष्ठान है। श्री बटुक भैरव, काशी के रक्षक और हर साधक के संरक्षक माने जाते हैं। इस जाप में प्रत्येक मंत्र उच्चारण के साथ भैरव की कृपा, साहस, असामयिक मृत्यु से सुरक्षा और भयानक खतरों के डर से राहत का आह्वान किया जाता है। 21 विद्वान ब्राह्मणों द्वारा किया जाने वाला महायज्ञ साधक के जीवन से भय, शत्रु-बाधा, नज़र दोष और अदृश्य नकारात्मक शक्तियों को शांत करने के लिए समर्पित है। इस अनुष्ठान से असामयिक मृत्यु और भयानक खतरों के डर से राहत का आशीर्वाद मिलता है।
📿 श्री मंदिर द्वारा काल भैरव जयंती महारात्रि निशित काल विशेष में भाग लें और असामयिक मृत्यु और भयानक खतरों से सुरक्षा का आशीर्वाद पाएं