संतोषी माता को क्या चढ़ाना चाहिए?
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संतोषी माता को क्या चढ़ाना चाहिए?

क्या आप संतोषी माता का आशीर्वाद और मन की शांति चाहते हैं? जानिए शुक्रवार के व्रत में मां को प्रसन्न करने के लिए क्या-क्या चढ़ाएं और उनका धार्मिक महत्व।

जानें संतोषी माता पर चढ़ने वाली सामग्री के बारे

हिंदू धर्म में मां संतोषी को एक खास देवी माना जाता है। वे भगवान गणेश की पुत्री हैं। ऐसा विश्वास है कि जो भी श्रद्धा से मां संतोषी की पूजा करता है, उसके जीवन की कई परेशानियाँ धीरे-धीरे दूर हो जाती हैं। चलिए जानते हैं संतोषी माता पर चढ़ाई जाने वाली वस्तुओं के बारे में।

संतोषी माता का व्रत कैसे करें? पूरी विधि, नियम और फायदे

शुक्रवार के दिन मां संतोषी की पूजा की जाती है। मां संतोषी को सुख, शांति और धन की देवी माना जाता है। ऐसा भी कहा जाता है कि शुक्रवार को श्रद्धा से व्रत करने से घर में सुख-समृद्धि आती है। जो लोग संतान की प्राप्ति चाहते हैं, वे भी इस दिन व्रत रखकर माता से प्रार्थना करते हैं।

संतोषी माता व्रत पूजा विधि

1. व्रत की शुरुआत

शुक्रवार के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करें और साफ लाल रंग के कपड़े पहनें। फिर व्रत का संकल्प लें कि आप श्रद्धा से संतोषी माता की पूजा और व्रत करेंगे।

2. पूजा की तैयारी

पूजा के लिए एक चौकी लें और उस पर लाल रंग का कपड़ा बिछाएं।

उस पर मां संतोषी की प्रतिमा या तस्वीर स्थापित करें।

चौकी के पास एक कलश भी रखें, जिसे स्वच्छ जल से भरकर उसके ऊपर आम के पत्ते और नारियल रखें।

संतोषी माता पर क्या चढ़ाएं? सामग्री की पूरी लिस्ट देखें

  • मां को सिंदूर, अक्षत (चावल), फूल और फूलों की माला अर्पित करें।

  • भोग में चना और गुड़ जरूर चढ़ाएं, ये उन्हें बहुत प्रिय है।

  • इसके अलावा एक केला भी भोग में रखें।

  • खट्टी चीजें इस दिन न खाएं और न ही भोग में रखें।

संतोषी माता व्रत विधि

  • सूरज निकलने से पहले उठकर घर की सफाई करें और स्नान करके खुद को शुद्ध करें। फिर घर के किसी साफ और पवित्र स्थान पर संतोषी माता की मूर्ति या तस्वीर रखें।

  • अब पूजा की सारी सामग्री तैयार करें। एक बड़े बर्तन में शुद्ध जल भरें और उसके ऊपर एक और बर्तन रखें जिसमें गुड़ और चना भर दें।

  • इसके बाद विधि-विधान से संतोषी माता की पूजा करें। पूजा के बाद व्रत कथा पढ़ें या ध्यान से सुनें। फिर माता की आरती करें और सभी को गुड़ और चने का प्रसाद बांटें।

  • पूजा के बाद जल वाले बर्तन का पानी घर में चारों तरफ छींटे मारकर छिड़कें, और जो पानी बच जाए उसे तुलसी के पौधे में डाल दें।

  • इसी तरह श्रद्धा और नियम से लगातार 16 शुक्रवार तक यह व्रत करें। इससे मां संतोषी की कृपा प्राप्त होती है और मनोकामनाएं पूरी होती हैं।

संतोषी माता व्रत के उद्यापन का सही तरीका

  • जब 16 शुक्रवार का व्रत पूरा हो जाए, तो अंतिम शुक्रवार को उद्यापन करना होता है।

  • इस दिन भी पहले की तरह संतोषी माता की विधि-विधान से पूजा करें। पूजा के बाद 8 या 16 बच्चों को घर बुलाकर उन्हें खीर-पूरी का भोजन कराएं। जिससे माता का आशीर्वाद आपको मिलता है।

  • भोजन के बाद उन्हें दक्षिणा और केले का प्रसाद देकर विदा करें।

  • फिर अंत में आप खुद प्रसाद ग्रहण करें। ऐसा करने से व्रत पूर्ण माना जाता है और मां संतोषी की कृपा बनी रहती है।

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Published by Sri Mandir·July 17, 2025

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